Thursday, March 11, 2010

निलंबित सांसद कमाल अख्तर ने कहाः ये बिल 'हाईफाई औरतों के लिए'




कमाल की टिप्पणी पर भाजपा और कांग्रेस की महिला सांसदों अलका, अनुसूया, मायासिंह ने कड़ा विरोध जताया

(sansadji.com सांसदजी डॉट कॉम से)

आज देर शाम लगभग पौने आठ बजे राज्यसभा से निलंबित सपा सांसद कमाल अख्तर ने एक न्यूज चैनल पर हो रही चर्चा में हिस्सा लेते हुए कहा कि आरक्षण बिल जिस तरह से कांग्रेस पारित कराने पर आमादा है, वह हद दर्जे की बेशर्मी है। कांग्रेस बेशर्म है। हाईफाई औरतों के लिए बिल लाया जा रहा है। उत्तर प्रदेश में सपा ने हर जिले में अलग से महिला विंग बना रखा है। तेज विरोध जताते हुए कांग्रेस-भाजपा सांसदों माया सिंह, अलका शर्मा, अनुसूया आदि ने कहा कि ये हाईफाई औरत किसे कह रहे हैं। इन्हें बात करने का सलीका भी नहीं। उन्होंने सोनिया गांधी के संबंध में भी इसी तरह की टिप्पणी की। कमाल कांग्रेस सांसद अलका की टिप्पणी पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त कर रहे थे। बिल पर केंद्रित इस चर्चा में निलंबित सांसद डॉ.एजाज अली, सुभाष यादव, भाजपा सांसद अनुसूया, भाजपा सांसद माया सिंह आदि भी भाग ले रहे थे। सुभाष यादव ने कहा कि हम कत्तई माफी नहीं मांगेंगे। राजद सांसदों ने कहा कि जिन्होंने संविधान बनाया है, हम उनसे ज्यादा तेज नहीं। क्या बिल के मौजूदा स्वरूप में देश की दलित-मुस्लिम औरतों के हितों का कोई ध्यान रखा गया है? कांग्रेस-भाजपा सांसदों ने कहा कि आपको किसने रोक रखा है दलित-मुस्लिम महिलाओं को टिकट देने से। आप लोग तो अपने परिवार के लोगों की राजनीति कर रहे हैं। भाजपा सांसद माया सिंह ने कहा कि सबसे पहले जरूरी है बिल पास होना, परिमार्जन बाद में होता रहेगा। इस पर निलंबित सांसदों ने सवाल उठाया कि वह संभावना पहले क्यों नहीं? योगी आदित्यनाथ के संबंध में कही गई एक बात पर भाजपा सांसद माया सिंह ने कहा कि सबके अपने-अपने विचार होते हैं। वैसे हमारे सभी सांसदों ने अनुशासन का पालन किया है। आदित्यनाथ को अपनी बात रखने का पूरा अधिकार है। इस पर सपा सांसद कमाल अख्तर ने कहा कि वही बात तो हम भी कह रहे हैं। हमे क्यों ये लोग खलनायक बना रहे हैं? कांग्रेस-भाजपा यदि महिलाओं को उतना अवसर देतीं तो आज इतना हल्ला नहीं होता। इसी तरह ये लोग सच्चर कमेटी, रंगनाथ कमेटी की रिपोर्ट दबाए हुए हैं। सांसद अलका शर्मा ने सवाल उठाया कि कमाल अख्तर की पार्टी ने कितनी महिलाओं को मौका दिया है? डिंपल यादव, अखिलेश यादव, रामगोपाल यादव किस दलित-मुस्लिम परिवार के हैं? राजद सांसद सुभाष यादव ने कहा कि आरक्षण लागू हुआ तो हमारी पार्टी दलितों, मुस्लिमों को पूरा मौका देगी। हम पहले से इन तबकों का सबसे ज्यादा ध्यान रखते आ रहे हैं। कांग्रेस सांसद अलका ने कहा कि ये बिल के विरोध के कारण नहीं, राज्यसभा में गलत कार्य के लिए सस्पेंड हुए हैं। हाईफाई महिलाओं को लेकर पैदा हुई गर्मागर्मी के दौरान हेमा मालिनी, जयाप्रदा, जया बच्चन, फूलन देवी के नाम भी चर्चा में खूब उछले। उल्लेखनीय है कि निलंबित ये सातों सांसद आज दिन में मुंह पर काली पट्टियां बांधकर संसद परिसर में बापू की प्रतिमा के सामने राजनीति प्रसाद के साथ अनशन पर बैठे। राज्यसभा से निलंबित सातों सदस्य साधु यादव, एजाज अली, साबिर अली, कमाल अख्तर, नंदकिशोर यादव आदि का कहना था कि जब तक हमे सदन में वापस नहीं लिया जाता, हम इसी तरह शांतिपूर्ण तरीके से अपना विरोध व्यक्त करते रहेंगे। अनशन पर बैठने से पहले इन सांसदों का कहना था कि हम किसी कीमत पर माफी नहीं मांगेंगे। हमारे साथ ज्यादती हुई है। हमे मॉर्शलों द्वारा बलपूर्वक सदन से बाहर किया गया। महिला आरक्षण विधेयक का विरोध जारी रहेगा। अनशन स्थल पर उनकी समर्थन में राजनीति प्रसाद में मुंह पर पट्टी बांधकर उनकी लड़ाई में शामिल दिखे। सरकार के एक वरिष्ठ मंत्री के अनुसार राज्यसभा से निलंबित किए गए राजद, लोजपा व सपा सांसदों के निलंबन की वापसी तभी संभव है जब वह माफीनामा पेश करें। इस शर्त पर विपक्ष की त्यौरियां तन गई हैं। सरकार की इस जिद के मुकाबले विपक्षी खेमा राज्यसभा में अपने संख्याबल की ताकत दिखाने को भी तैयार है। सूत्रों के अनुसार यदि सरकार नहीं मानी तो निलंबित सांसदों के निलंबन की वापसी के लिए विपक्ष अपनी ओर से प्रस्ताव ला सकता है।

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