Tuesday, March 16, 2010

मालदार माला का 'माली' कौन, जांच होगी



अब तो बुधवार को बहनजी ने अपने सांसदों की बैठक बुला ली
संसद में माला-माला की चीख पर आयकर जांच की दिलासा

(खबर सांसदजी डॉट कॉम sansadji.com से)



बसपा की महारैली में मुख्यमंत्री मायावती के गले आफत पड़ी कि माला, अब आयकर विभाग जांच करने वाला है।संसद में तो ऐसी माला-माला की चीख-पुकार मची कि 12 अप्रैल तक स्थगित हो गई। चलो कुछ नहीं तो यही सही।उधर, कल बहनजी ने अपने आला सिपहसालारों की माला पर मीटिंग तलब कर ली है।
कोई कह रहा है कि माला में एक-एक हजार के नोट थे, कोई कुछ कह रहा, कोई कुछ। बसपा कह रही है, नहीं-नहीं, माला में सिर्फ 21 लाख रुपये गुंथे थे। संसद में माला-माला जपते हुए निशाना साध दिया गया। कहने वाले कहते हैंकि माला में 5 से 10 करोड़ रूपये तक गुंथे हुए थे। लोकसभा में सपा, कांग्रेस, भाजपा और जदयू सदस्यों ने भारीहंगामा किया। विपक्ष दल मायावती के गले में नोटों की माला डाले जाने के मामले में मनी लॉन्ड्रिंग कानून के तहतकार्रवाई किए जाने की मांग उठा रहे थे। भारी शोरगुल के सदन को दो बार स्थगित किया गया और बाद में बैठकअप्रेल तक के लिए स्थगित कर दी गई। लोकसभा के बजट सत्र के पहले दौर का मंगलवार को अंतिम दिन था।दूसरा दौर 12 अप्रेल से शुरू होना है, जिसके बाद यह 7 मई तक चलेगा। सदन में शून्यकाल के दौरान सपा औरकांग्रेस सदस्यों ने माया की माला के मुद्दे पर जमकर हंगामा किया। सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव और उनकीपार्टी के सांसदों और कांग्रेस के जगदम्बिका पाल को कहते सुना गया कि मायावती
12 को कथित तौर पर नोटों का जोहार पहनाया गया, उसकी कीमत 10 से 15 करोड़ रूपए के बीच बीच है। भारी शोरगुल के बीच इन सदस्यों नेमामले की जांच कराने की मांग की और कहा सरकार पता लगाए कि यह धन कहां से आया। उधर, बहनजी नेमाला मुद्दे पर अपने मंत्रियों और बसपा सांसदों की बुधवार 12 बजे अपने आवास पर बैठक बुला ली है। अंदेशाकार्रवाई का भी हो सकता है। यदि ऐसा हुआ तो लोगों को और कहने का मौका मिल सकता है।

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